नेटवर्क मार्केटिंग में पुरुषों की अपेक्षा महिलाओं की तादात अधिक :शोध:


नैनीताल। जहां एक ओर अमेरिका समेत अन्य बड़े देशों में नेटवर्क मार्केटिंग के कारोबार को जीडीपी का आधार माना जाता है, तो वहीं अब भारत में भी नेटवर्क मार्केटिंग ने गति पकड़ना शुरू कर दिया है। प्रदेश के कुमाऊं रीजन में पिछले कुछ सालों में तेजी से नेटवर्क मार्केटिंग का कारोबार बढ़ा है। कुमाऊं में नेटवर्क मार्केटिंग से पुरुषों की अपेक्षा महिलाएं ज्यादा जुड़ रही हैं। मंडल में इससे जुड़ी महिलाओं का आंकड़ा करीब 70 प्रतिशत है, जबकि मात्र 30 फीसदी पुरुष नेटवर्क मार्केटिंग से जुड़े हैं।
कुमाऊं विवि के वाणिज्य विभाग में बतौर असिस्टेंट प्रोफेसर कार्यरत डॉ. पूजा जोशी ने एंटरप्रेन्योरशिप एंड वूमेन एंपावरमेंट थ्रू नेटवर्क मार्केटिंग विषय पर शोध किया है। रिसर्च में यह परिणाम सामने आए हैं, कि नेटवर्क मार्केटिंग में 25 से 30 तथा 50 वर्ष की आयु से अधिक उम्र की महिलाएं ज्यादा जुड़ी हैं। इससे जहां महिलाओं को घरेलू सामान उपलब्ध हो रहा है, तो वहीं उनकी आमदनी भी बढ़ रही है। हालांकि सर्वे के अनुसार महिलाएं नेटवर्क मार्केटिंग से इसलिए नहीं जुड़ रही हैं कि उनकी आर्थिक स्थिति बेहतर हो, बल्कि इसलिए जुड़ रहीं हैं कि उनके व्यक्तित्व का विकास हो और वह सामाजिक रूप से सशक्त भी हों। कुमाऊं के सभी छह जिलों में महिलाएं नेटवर्क मार्केटिंग से जुड़ी हैं। नैनीताल तथा उधमसिंह नगर में इनकी संख्या सबसे अधिक है। शोधकर्ता डॉ. पूजा ने बताया कि नेटवर्क मार्केटिंग में महिलाओं की भूमिका पर उन्होंने पहली बार शोध किया है, लेकिन इस विषय के विभिन्न पहलुओं पर और आगे रिसर्च करने की आवश्यकता है। कहा कि नेटवर्क मार्केटिंग को हिमांचल की तर्ज पर उत्तराखंड में भी एक पाठ्यक्रम के रूप में शुरू किया जाना चाहिए। साथ ही इससे जुड़ी महिलाओं को बेहतर करने के लिए कार्यशालाएं ज्वाइन करनी चाहिए। और नेटवर्क मार्केटिंग को खुद समझना चाहिए। किसी भी तरह की अफवाह से बचना चाहिए।

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